समाज की जनसेविका सांवराद प्रकरण की नारी शक्ति सीमा रघुवंशी दिल्ली
भारत वर्ष का संपूर्ण क्षेत्रीय समाज इस जनसेविका से परिचित है यह किसी परिचय की मोहताज नहीं *क्योंकि इस क्षत्राणी ने समाज के लिए 45 दिन जेल में बिताए हैं सांवराद प्रकरण में* फिर भी जो लोग नहीं जानते उनको इस पोस्ट के माध्यम से परिचित करवाना चाहता हूं!!
भारत वर्ष का संपूर्ण क्षेत्रीय समाज इस जनसेविका से परिचित है यह किसी परिचय की मोहताज नहीं *क्योंकि इस क्षत्राणी ने समाज के लिए 45 दिन जेल में बिताए हैं सांवराद प्रकरण में* फिर भी जो लोग नहीं जानते उनको इस पोस्ट के माध्यम से परिचित करवाना चाहता हूं!!
*सीमा रघुवंशी राजस्थान की बहू और दिल्ली की बेटी है*
सीमा रघुवंशी
ठिकाना- मिर्जापुर
जिला- बुलंदशहर
उत्तर प्रदेश
*वर्तमान निवास स्थान दिल्ली है क्योंकि परिवार के लोग 80 साल से दिल्ली ही निवास कर रहे हैं*
ठिकाना- मिर्जापुर
जिला- बुलंदशहर
उत्तर प्रदेश
*वर्तमान निवास स्थान दिल्ली है क्योंकि परिवार के लोग 80 साल से दिल्ली ही निवास कर रहे हैं*
सीमा रघुवंशी जीजा समाज की वह शख्सियत है जिसका दुर्गा का तांडव रूप सांवराद प्रकरण में देखा है लोगों ने *उन्होंने यह साबित करके दिखाया है कि क्षत्राणी किसी भी क्षेत्र में किसी से कम नहीं है* हालांकि इन पर सांवराद प्रकरण में उपद्रव फैलाने का आरोप लगाया जाता है पर मैं इस बात से कभी सहमत नहीं हु कि इन्होंने सांवराद प्रकरण उपद्रव्य फैलाया *अगर वाकई सांवराद प्रकरण उपद्रव का किसी पर आरोप लगाना उचित है तो वह है सरकार* राजपूत कॉम को आप झूठे आश्वासन देकर सुबह से भूखे प्यासे 9 घंटे शांति से नहीं बिठा सकते जब छत्रिय समाज के लोग सुबह से लगातार 9,10 घंटे शांति से बैठे रहे तो उनका सब्र का बांध टूट पड़ा और राजपूती खून ने उबाल मार दिया *और अपने ही समाज के लोग आरोप सीमा सिंह रघुवंशी पर लगाते हैं* उनकी गलती सिर्फ यह थी कि उन्होंने जोशीला भाषण दे दिया,
घर परिवार की तमाम जिम्मेदारियां और उसके बावजूद भारत के किसी भी कोने में समाज के लिए संघर्ष करने के लिए चल पड़ना वह भी एक क्षत्राणी *आपके जोश और जज्बे को यह क्षेत्रीय समाज सलाम करता है,*
क्षत्रिय समाज में अगर भारत देश में नारी शक्ति के रूप में किसी ने दबंग क्षत्राणी के रूप में पहचान बनाई है तो वह है सीमा सिंह रघुवंशी जीजा हुक्म
सांवराद प्रकरण में इनके जोश जुनून और जज्बात से सभी परिचित हैं वह एक अलग बात है कि सरकार ने राजपूत समाज पर जो दमनकारी नीति अपनाई है उसकी सबसे बड़ी शिकार सीमा सिंह रघुवंशी हुई,
सांवराद प्रकरण में इनका संपूर्ण जीवन सरकार की दमनकारी नीति का शिकार होकर दावे पर लग गया *सांवराद प्रकरण में इन पर कुल 46 धाराएं लगाई गई और 14 मुकदमे दर्ज किए गए* जिसमें से अभी फिलहाल 22 धाराएं और 10 मुकदमे और बच्चे हैं
*इनके ऊपर सबसे बड़ा मुकदमा लगा वह रेलवे का लगा 3500 करोड रुपए का जो फिलहाल अभी भी चल रहा है*
सांवराद प्रकरण में 10 मुकदमे फिलहाल चल रहे हैं इन पर जिसमें से सिर्फ *एक में जमानत हुई है बाकी 9 में अभी बाकी है*
सांवराद प्रकरण में अगर किसी पर सबसे ज्यादा मुकदमें और सबसे ज्यादा धारा लगी है तो वह यही शेरनी सीमा सिंह रघुवंशी है *सीबीआई जांच चल रही है वह अलग* सीबीआई ने सांवराद प्रकरण को लेकर इनसे कई बार पूछताछ भी कर चुकी है,
सांवराद प्रकरण में इनका संपूर्ण जीवन सरकार की दमनकारी नीति का शिकार होकर दावे पर लग गया *सांवराद प्रकरण में इन पर कुल 46 धाराएं लगाई गई और 14 मुकदमे दर्ज किए गए* जिसमें से अभी फिलहाल 22 धाराएं और 10 मुकदमे और बच्चे हैं
*इनके ऊपर सबसे बड़ा मुकदमा लगा वह रेलवे का लगा 3500 करोड रुपए का जो फिलहाल अभी भी चल रहा है*
सांवराद प्रकरण में 10 मुकदमे फिलहाल चल रहे हैं इन पर जिसमें से सिर्फ *एक में जमानत हुई है बाकी 9 में अभी बाकी है*
सांवराद प्रकरण में अगर किसी पर सबसे ज्यादा मुकदमें और सबसे ज्यादा धारा लगी है तो वह यही शेरनी सीमा सिंह रघुवंशी है *सीबीआई जांच चल रही है वह अलग* सीबीआई ने सांवराद प्रकरण को लेकर इनसे कई बार पूछताछ भी कर चुकी है,
जो लोग इनका विरोध करते हैं उनको सोचना चाहिए कि एक क्षत्राणी समाज के लिए 45 दिन जेल में रहकर आई है क्या उस क्षत्राणी पर आरोप प्रत्यारोप लगाना सही है उन्होंने अपना संपूर्ण जीवन दावे पर लगा दिया *समाज हमेशा इनका ऋणी रहेगा एक क्षत्राणी होकर समाज के लिए 45 दिन जेल में बिता कर आए हैं,*
इन्होंने कई सामाजिक संगठनों का प्रतिनिधित्व भी किया है और अभी फिलहाल यह अखिल क्षेत्रीय राजपूत महासभा महिला राष्ट्रीय प्रभारी है और हरियाणा राजस्थान दिल्ली की प्रदेश अध्यक्ष भी है इनके साथ में यह शहीदों के लिए भी कार्य करते हैं इनका खुद का एक ट्रस्ट है जिसका नाम *अखिल क्षेत्रीय शहीद राजपूताना ट्रस्ट है* जो शहीदों के लिए संपूर्ण रूप से समर्पित है और उनके लिए कार्य करता है,
लाेग इनको दबंग शेरनी भी कहते हैं क्योंकि यह अकेले अपने दम पर किसी से भी हर प्रकार से लड़ने का माद्दा रखते हैं अभी दिल्ली में इन्होंने St Sc एक्ट के खिलाफ दमदार तरीके से अपनी आवाज बुलंद की थी इस काले कानून के खिलाफ और *यह St Sc एक्ट के खिलाफ दिल्ली हाई कोर्ट से केस लड़ रहे हैं* न्यूज़ पत्रकारिता और टीवी पत्रकारिता में यह क्षत्रिय समाज की बात बड़ी दमखम के साथ और दबंग तरीके से रखते हैं इसलिए भी यह दबंग शेरनी की पहचान रखते हैं,
अन्य प्रकार के सामाजिक कार्यों से भी यह जुड़े रहते हैं और जहां भी इनकी जरूरत पड़ती है वहां पहुंच जाते हैं समाज के लिए,
अन्य प्रकार के सामाजिक कार्यों से भी यह जुड़े रहते हैं और जहां भी इनकी जरूरत पड़ती है वहां पहुंच जाते हैं समाज के लिए,
मैं विशेष निवेदन करना चाहूंगा राजपूत समाज के भाइयों से अगर किसी राजपूत भाई को जॉब की सख्त आवश्यकता हो तो इनसे संपर्क करें यह राजपूत भाइयों को जॉब लगाने में बहुत हेल्प करते हैं और कई भाइयो को नौकरी लगाई है
*अतः मेरे युवा भाइयों को जॉब की आवश्यकता हो इन से तुरंत प्रभाव से संपर्क करें,*
जय मां भवानी
जय क्षत्राणी
जय क्षात्र धर्म
जय क्षत्राणी
जय क्षात्र धर्म
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